Adoption
अगर आप भारत में रहते हुए बच्चा गोद लेना चाहते हैं तो ऐसे में से जुड़े नियम और कानून आपको पता होना बहुत जरूरी है ताकि बच्चा गोद लेते समय आपको इसके प्रक्रिया से जुड़ी दिक्कतों का सामना न करना पड़े और भारत सरकार ने एडॉप्शन प्रोसेस से जुड़े इन रूल्स और रेगुलेशंस में क्या-क्या बदलाव किए हैं यह भी आपके लिए जाना बहुत जरूरी है तो क्या है वह रूल्स एंड रेगुलेशंस और क्या बड़े बदलाव इसमें किए गए हैं
Adoption Online
तो चलिए सबसे पहले जानते हैं कि आप Adoption के लिए ऑनलाइन कैसे अप्लाई कर सकते हैं अगर आप बच्चे को गोद लेना चाहते हैं तो सबसे पहले सेंट्रल एडॉप्शन रिसोर्स अथॉरिटी यानी CARA की वेबसाइट पर जाकर आप ऑनलाइन अप्लाई कर सकते हैं इसमें अपनी आधार कार्ड पैन कार्ड अपनी फोटो अपना मैरिज सर्टिफिकेट अपना फिटनेस सर्टिफिकेट और अपने इनकम प्रूफ जैसे जरूरी डॉक्युमेंट्स ऑनलाइन ही सबमिट करने होते हैं
इसके बाद अप्लाई करते टाइम ही होम विजिट के लिए आपको एक एजेंसी को चूज करना पड़ता है और वह एजेंसी आपके घर वेरिफिकेशन के लिए आती है
अब जानते हैं कि भारत में बच्चों को अडॉप्ट करने के लिए वह जरूरी नियम क्या-क्या है
1. कानूनी तौर पर सिंगल पैरंट या शादीशुदा कपल दोनों ही बच्चे को गोद ले सकते हैं मैरिड कपल्स लड़का या लड़की किसी को भी गोद ले सकते हैं एक सिंगल महिला भी अगर बच्चे को गोद लेना चाहती है तो वह लड़का या लड़की दोनों में से किसी को भी अडॉप्ट कर सकती है लेकिन अगर एक सिंगल पुरुष बच्चे को अडॉप्ट करना चाहता है तो वह सिर्फ लड़के को ही गोद ले सकता है
2.अगर कोई मैरिड कपल बच्चों को गोद ले रहा है तो उनकी शादी को कम से कम 2 साल का समय होना चाहिए
3.होने वाले बच्चे और उसे अडॉप्ट करने वाले पेरेंट्स की एज में काम से कम 25 साल का डिफरेंट होना चाहिए
4. गोद लेने वाले कपल का फिजिकली मेंटली इमोशनली फिट होना और फाइनेंशली स्ट्रांग होना जरूरी है
5. यह बात पूरी तरह से वेरीफाइड होनी चाहिए कि अडॉप्ट करने वाले पेरेंट्स को कोई जानलेवा बीमारी नहीं है और उन पर किसी तरह की क्राइम की आरोप उनके ऊपर नहीं हो
6. अगर कोई कपल बच्चों को गोद लेना चाहता है तो इस फैसले में उन दोनों की सहमति होना बहुत जरूरी है
Child Adoption
चलिए हम जानते हैं कि किस उम्र तक के बच्चे को किस उम्र तक के पेरेंट्स अडॉप्ट कर सकते हैं
1. 2 साल तक के बच्चे को अडॉप्ट करने के लिए अडॉप्ट करने वाले कपल की एज 85 इयर्स तक होनी चाहिए और अगर सिंगल पैरंट है तो उसकी में एज लिमिट है 40 वर्ष
2. अगर गोद लेने वाले बच्चों की उम्र 2 साल से ज्यादा और 4 साल तक है तो ऐसे में अडॉप्ट करने वाले कपल की टोटल एज 90 वर्ष और सिंगल पैरंट के केस में 45 इयर्स ऐज होनी चाहिए
3. अगर अडॉप्ट होने वाले बच्चों की एज 4 साल से ज्यादा और 8 साल तक है तो ऐसे में उसे अडॉप्ट करने वाले पेरेंट्स की टोटल एज 100 वर्ष और सिंगल पैरंट के केस में 50 वर्ष होनी चाहिए
4. और 18 साल तक के बच्चे को गोद लेने के केस में कपल की टोटल एज 110 साल और सिंगल पैरंट की आगे 55 साल तक होनी चाहिए
Child Adoption
जानते हैं Adoption प्रोसेस के लिए वह जरूरी डॉक्यूमेंट कौन-कौन से हैं
1. गोद लेने वाले परिवार की एक फैमिली पिक्चर
2. पासपोर्ट वोटर आईडी आधार कार्ड पैन कार्ड ड्राइविंग लाइसेंस बर्थ सर्टिफिकेट इन सभी डाक्यूमेंट्स में से किसी एक का होना बहुत जरूरी है
3. गोद लेने वाली फैमिली को अपना रेजिडेंट सर्टिफिकेट देना जरूरी है इसके लिए आप आधार कार्ड वोटर कार्ड पासपोर्ट बिजली का बिल या टेलीफोन का बिल भी दे सकते हैं
4. गोद लेने वाले पेरेंट्स की पिछले साल की इनकम टैक्स की ऑथेंटिक कॉपी देना भी जरूरी है
5. सिंगल पैरंट या मैरिड कपल्स को कोई जानलेवा बीमारी ना हो इसके लिए उन्हें मेडिकल सर्टिफिकेट सबमिट करना होता है
6. गोद लेने वाला अगर मैरिड है तो शादी का सर्टिफिकेट अगर डाइवोर्स है तो उसका सर्टिफिकेट देना जरूरी है
7. अगर आप अनमैरिड है और आप बच्चा डॉग करना चाहते हैं तो इस केस में आपके रिश्तेदारों को एक अंडरटेकिंग देनी होगी
8 . गोद लेने वाले फैमिली में अगर पहले से बड़े बच्चे हैं तो उनके सहमति होना भी बहुत जरूरी है
Child Adoption
तो यह थे भारत में चाइल्ड Adoption से जुड़े कुछ रूल्स एंड रेगुलेशंस जो एक अडॉप्ट करने वाले पेरेंट्स के लिए जानना और फॉलो करना बहुत जरूरी है